पटना: बिहार विधानसभा चुनाव के पहले चरण का मतदान संपन्न हो चुका है। चुनाव आयोग के आंकड़ों के मुताबिक, शाम 6 बजे तक औसतन 64 फीसदी से ज्यादा मतदान दर्ज किया गया। इस चरण में वे पांच सीटें भी शामिल थीं, जहां 2020 के विधानसभा चुनाव में हार-जीत का अंतर 1000 वोटों से भी कम था। ये सीटें है- बखरी, बरबीघा, भोरे, मटिहानी और हिलसा। पिछले चुनाव में इन पांच सीटों में से तीन पर जेडीयू, एक पर सीपीआई और एक पर लोक जनशक्ति पार्टी (एलजेपी) ने जीत हासिल की थी। वहीं बीजेपी, कांग्रेस, आरजेडी और सीपीआई (एमएल) को इन सीटों पर दूसरे स्थान से संतोष करना पड़ा था।
आइए जानते हैं, 2020 में इन सीटों पर कैसा रहा मुकाबला? इस बार किसके बीच है कांटे की टक्कर और इन सीटों पर कितने प्रतिशत वोटिंग हुई...
बखरी सीट: क्या सीपीआई दोहरा पाएगी जीत?
बेगूसराय जिले की बखरी सीट पर 2020 में सीपीआई ने बीजेपी को महज 777 वोटों से हराया था। सीपीआई को मिले थे 72,177 वोट, जबकि बीजेपी को 71,400 वोट। इस बार सीट बीजेपी ने लोजपा (रामविलास) को दे दी है, जिसने संजय पासवान को मैदान में उतारा है। वहीं महागठबंधन की ओर से सीपीआई ने अपने मौजूदा विधायक सूर्यकांत पासवान पर फिर भरोसा जताया है। इस सीट पर इस बार 68.88 प्रतिशत वोटिंग हुई है।
बरबीघा सीट: 113 वोटों का फासला, अब होगा तिकोना मुकाबला
शेखपुरा जिले की बरबीघा सीट पर 2020 में जेडीयू के सुदर्शन कुमार ने कांग्रेस के त्रिशूलधारी सिंह को सिर्फ 113 वोटों से हराया था। जेडीयू को 39,878 वोट मिले थे, जबकि कांग्रेस को 39,765 वोट। इस बार जेडीयू ने नया चेहरा कुमार पुष्पंजय को टिकट दिया है, जबकि कांग्रेस ने एक बार फिर त्रिशूलधारी सिंह पर दांव लगाया है। नाराज चल रहे पूर्व विधायक सुदर्शन कुमार निर्दलीय मैदान में हैं, जिससे मुकाबला त्रिकोणीय बन गया है। इस सीट पर बिहार चुनाव 2025 के पहले चरण में मतदान हुआ। मतदान का प्रतिशत इस बार 61.44 प्रतिशत रहा।
भोरे सीट पर कितना रहा मतदान? पिछली बार 462 वोट ने तय की थी जीत
गोपालगंज की भोरे सीट पर 2020 में जेडीयू के सुनील कुमार ने सीपीआई(एमएल) के जितेंद्र पासवान को 462 वोटों से हराया था। जेडीयू को 74067 वोट मिले थे, जबकि सीपीआई (एमएल) को 73,605 वोट। इस बार भी सुनील कुमार जेडीयू उम्मीदवार हैं, जबकि सीपीआई(एमएल) ने धनंजय (पूर्व जेएनयू छात्रसंघ अध्यक्ष) को टिकट दिया है, क्योंकि पुराने उम्मीदवार को सजा हो चुकी है। इस सीट पर इस बार 62.54 प्रतिशत वोटिंग हुई है।
मटिहानी सीट: दलबदल के बाद बदली समीकरण
बेगूसराय की मटिहानी सीट पर 2020 में एलजेपी के राजकुमार सिंह ने जेडीयू के नरेंद्र कुमार सिंह उर्फ बोगो को 333 वोटों से हराया था। एलजेपी को 61364 वोट मिले थे, जबकि जेडीयू को 61,031 वोट। अब राजकुमार सिंह ने जेडीयू का दामन थाम लिया है और पार्टी ने उन्हें टिकट दिया है। वहीं बोगो सिंह अब राजद उम्मीदवार हैं। इस दलबदल के बाद सीट पर दिलचस्प मुकाबला बन गया है। मटिहानी सीट पर इस बार 69.47 प्रतिशत वोटिंग हुई है।
हिलसा सीट: सिर्फ 12 वोट से बनी थी जीत, इस बार कितनी हुई वोटिंग?नालंदा जिले की हिलसा सीट 2020 में सबसे करीबी मुकाबले वाली सीट रही थी। जेडीयू के कृष्णमुरारी शरण उर्फ प्रेम मुखिया ने राजद के अत्री मुनि उर्फ शक्ति सिंह यादव को मात्र 12 वोटों से हराया था। जेडीयू को 61848 वोट, जबकि राजद को 61,836 वोट मिले थे। इस बार भी दोनों उम्मीदवार आमने-सामने हैं, जिससे यह सीट फिर सुर्खियों में है। मटिहानी सीट पर इस बार 61.82 प्रतिशत वोट हासिल किए थे।
इन पांच सीटों पर कितनी हुई वोटिंग?पहले चरण के मतदान में इन पांचों सीटों पर औसतन 65% से अधिक मतदान दर्ज किया गया है। ग्रामीण इलाकों में मतदान की रफ्तार तेज रही, जबकि शहरी इलाकों में कुछ कमी देखी गई। चुनाव आयोग ने बताया कि कुल मिलाकर मतदान शांतिपूर्ण रहा।
आइए जानते हैं, 2020 में इन सीटों पर कैसा रहा मुकाबला? इस बार किसके बीच है कांटे की टक्कर और इन सीटों पर कितने प्रतिशत वोटिंग हुई...
बखरी सीट: क्या सीपीआई दोहरा पाएगी जीत?
बेगूसराय जिले की बखरी सीट पर 2020 में सीपीआई ने बीजेपी को महज 777 वोटों से हराया था। सीपीआई को मिले थे 72,177 वोट, जबकि बीजेपी को 71,400 वोट। इस बार सीट बीजेपी ने लोजपा (रामविलास) को दे दी है, जिसने संजय पासवान को मैदान में उतारा है। वहीं महागठबंधन की ओर से सीपीआई ने अपने मौजूदा विधायक सूर्यकांत पासवान पर फिर भरोसा जताया है। इस सीट पर इस बार 68.88 प्रतिशत वोटिंग हुई है।
बरबीघा सीट: 113 वोटों का फासला, अब होगा तिकोना मुकाबला
शेखपुरा जिले की बरबीघा सीट पर 2020 में जेडीयू के सुदर्शन कुमार ने कांग्रेस के त्रिशूलधारी सिंह को सिर्फ 113 वोटों से हराया था। जेडीयू को 39,878 वोट मिले थे, जबकि कांग्रेस को 39,765 वोट। इस बार जेडीयू ने नया चेहरा कुमार पुष्पंजय को टिकट दिया है, जबकि कांग्रेस ने एक बार फिर त्रिशूलधारी सिंह पर दांव लगाया है। नाराज चल रहे पूर्व विधायक सुदर्शन कुमार निर्दलीय मैदान में हैं, जिससे मुकाबला त्रिकोणीय बन गया है। इस सीट पर बिहार चुनाव 2025 के पहले चरण में मतदान हुआ। मतदान का प्रतिशत इस बार 61.44 प्रतिशत रहा।
भोरे सीट पर कितना रहा मतदान? पिछली बार 462 वोट ने तय की थी जीत
गोपालगंज की भोरे सीट पर 2020 में जेडीयू के सुनील कुमार ने सीपीआई(एमएल) के जितेंद्र पासवान को 462 वोटों से हराया था। जेडीयू को 74067 वोट मिले थे, जबकि सीपीआई (एमएल) को 73,605 वोट। इस बार भी सुनील कुमार जेडीयू उम्मीदवार हैं, जबकि सीपीआई(एमएल) ने धनंजय (पूर्व जेएनयू छात्रसंघ अध्यक्ष) को टिकट दिया है, क्योंकि पुराने उम्मीदवार को सजा हो चुकी है। इस सीट पर इस बार 62.54 प्रतिशत वोटिंग हुई है।
मटिहानी सीट: दलबदल के बाद बदली समीकरण
बेगूसराय की मटिहानी सीट पर 2020 में एलजेपी के राजकुमार सिंह ने जेडीयू के नरेंद्र कुमार सिंह उर्फ बोगो को 333 वोटों से हराया था। एलजेपी को 61364 वोट मिले थे, जबकि जेडीयू को 61,031 वोट। अब राजकुमार सिंह ने जेडीयू का दामन थाम लिया है और पार्टी ने उन्हें टिकट दिया है। वहीं बोगो सिंह अब राजद उम्मीदवार हैं। इस दलबदल के बाद सीट पर दिलचस्प मुकाबला बन गया है। मटिहानी सीट पर इस बार 69.47 प्रतिशत वोटिंग हुई है।
हिलसा सीट: सिर्फ 12 वोट से बनी थी जीत, इस बार कितनी हुई वोटिंग?नालंदा जिले की हिलसा सीट 2020 में सबसे करीबी मुकाबले वाली सीट रही थी। जेडीयू के कृष्णमुरारी शरण उर्फ प्रेम मुखिया ने राजद के अत्री मुनि उर्फ शक्ति सिंह यादव को मात्र 12 वोटों से हराया था। जेडीयू को 61848 वोट, जबकि राजद को 61,836 वोट मिले थे। इस बार भी दोनों उम्मीदवार आमने-सामने हैं, जिससे यह सीट फिर सुर्खियों में है। मटिहानी सीट पर इस बार 61.82 प्रतिशत वोट हासिल किए थे।
इन पांच सीटों पर कितनी हुई वोटिंग?पहले चरण के मतदान में इन पांचों सीटों पर औसतन 65% से अधिक मतदान दर्ज किया गया है। ग्रामीण इलाकों में मतदान की रफ्तार तेज रही, जबकि शहरी इलाकों में कुछ कमी देखी गई। चुनाव आयोग ने बताया कि कुल मिलाकर मतदान शांतिपूर्ण रहा।
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